तेरी दुआओं में....!

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  • Saturday, January 22, 2011
  • तेरी दुआओं में इतना असर हो गया,
    ख्वाबों का महल राख का घर हो गया.

    तुझसे मिला तो यूं लगा कि आशियाँ मिला,
    पर मै तो आज फिर से दरबदर हो गया.

    वो खुशनुमा ख्वाब देखने की चाह में,
    बस आँख ही लगी थी कि सहर हो गया.

    सोचा था अभी मंजिलें मिल जायेंगी हमें,
    पर देखो कितना लम्बा ये सफ़र हो गया.
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    दखलंदाज़ी जारी रहे..!